गोमती मित्रों ने किया वाटर वूमेन शिप्रा पाठक का सीताकुंड धाम पर स्वागत
सुल्तानपुर। प्रदेश के बदायूं जनपद की रहने वाली, मुंबई में इवेंट मैनेजर रहीं शिप्रा पाठक का मन प्रकृति में ऐसा रमा की उन्होंने सब कुछ छोड़ कर अपना जीवन जल-जंगल-जमीन के संरक्षण के लिए समर्पित कर दिया। काशी स्थित मां गंगा के मणिकर्णिका घाट से आये उनके मन के बदलाव ने पदयात्रा करके लोगों को नदियों के प्रति जागरूक करने की एक मजबूत जमीन तैयार कर दी। परिवार छोड़ मानसरोवर झील की 52 किलोमीटर की परिक्रमा कर नर्मदा के किनारे 3500 किलोमीटर की पदयात्रा पूरी की। पदयात्रा के दौरान मिले अनुभव ने उन्हें सिखाया कि अगर नदियों की रक्षा करनी है तो हरियाली की भी रक्षा करनी होगी और उन्होंने एक करोड़ पौधे रोपने का भी लक्ष्य बना लिया। अब उन्होंने मां गोमती के उद्गम स्थल से 960 किलोमीटर की पदयात्रा शुरू की और शनिवार शाम पहुंची श्री सीता कुंड धाम जहां गोमती मित्रों ने उनका जोरदार स्वागत किया और आदि गंगा मां गोमती की आरती उनके द्वारा करवाई गई। उपस्थित श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए शिप्रा जी ने विशेष आग्रह किया की आप सभी अपने व्यस्त समय में से समय निकालकर प्रकृति के लिए अपने दायित्व को अवश्य पूरा कीजिए। संरक्षक डॉ सुधाकर सिंह एवं प्रदेश अध्यक्ष रुद्र प्रताप सिंह मदन द्वारा उन्हें स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। कार्यक्रम में मुख्य रूप से उपस्थित रहे पूर्व केंद्रीय मंत्री डॉ संजय सिंह, वरिष्ठ भाजपा नेता शिव कुमार सिंह, डॉ एम पी सिंह, शैलेश पाठक, दिनकर प्रताप सिंह, अभय शुक्ला, अजय प्रताप सिंह, डॉ त्रिवेणी सिंह गायत्री परिवार से राकेश सिंह, सेनजीत कसौधन दाऊ, भाजपा नेता रमेश सिंह टिन्नू, महिला मंडल, युवा मंडल, बाल मंडल के सभी सदस्य मौजूद रहे।
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