गायत्री शक्तिपीठ द्वारा आयोजित 15 दिवसीय एक्यूप्रेशर चिकित्सा शिविर का समापन
सुल्तानपुर। गायत्री शक्तिपीठ सुल्तानपुर कुड़वार नाका सुल्तानपुर के द्वारा आयोजित 15 दिवसीय एक्यूप्रेशर चिकित्सा शिविर का समापन हो गया है। इस दौरान चिकित्सा शिविर के माध्यम से चुंबक पद्धति से लोगों के पुराने से पुराने रोग का उपचार किया गया। एक्यूप्रेशर चिकित्सा के विशेषज्ञ डॉक्टर आदित्य प्रताप सिंह ने बताया कि इस पद्धति में तीन तरह से रोगों का इलाज किया जाता है। प्रथम चुंबक पद्धति से द्वितीय कलर पद्धति से और तृतीय मेथी मटर लगाकर असाध्य रोगों तक का इलाज एक्यूप्रेशर चिकित्सा पद्धति से किया जाना संभव है। 15 दिवसीय चिकित्सा शिविर में डॉक्टर आदित्य प्रताप ने सैकड़ो लोगों का इलाज किया और कई मरीज को एक्यूप्रेशर चिकित्सा के लिए दूसरे मरीजों को इलाज करने के लिए प्रशिक्षित भी किया जो उनकी अनुपस्थिति में उनके निर्देश में लोगों का चुंबक पद्धति से उपचार कर रहे हैं। डॉ आदित्य प्रताप ने बताया की आदर्श कुमार, गोपाल जी सेठ, मोहिनी बरनवाल सद्भावना सिंह, अमरावती सिंह कुसुम लता बर्मा, सुनीता शुक्ला आदि लोग मरीज के रूप में अपना इलाज करवाने के लिए इस शिविर में आए और लाभान्वित होकर आज यह लोग मरीजो के उपचार में सहयोग कर रहे हैं। गोपाल जी सेठ एवं मोहिनी बरनवाल चिकित्सा शिविर के समापन के पश्चात भी गायत्री मंदिर में दोपहर 3:00 बजे से आकर मरीजो का उपचार करते हैं। अंतिम मरीज को चुंबक लगाने तक अपनी सेवाएं प्रदान कर रहे हैं। डॉ आदित्य प्रताप सिंह ने बताया कि फरवरी के महीने में 10 दिवसीय एवं पांच दिवसीय प्रशिक्षण शिविर लगाया गया था जिसमें इन लोगों ने प्रशिक्षण प्राप्त कर चुंबक चिकित्सा पद्धति के माध्यम से लोगों का उपचार करने सहयोग प्रदान कर रहे हैं। सद्भावना सिंह ने बताया कि वह कमर दर्द व गैस की समस्या से परेशान थी, शिविर में आकर उन्होंने उपचार कराया और उनकी कमर दर्द और गैस की समस्या से उन्हे काफी राहत मिली है। अमरावती सिंह ने बताया कि वह सर्वाइकल की समस्या से पीड़ित थी आज वह काफी चुंबक चिकित्सा पद्धति को अपना कर काफी राहत महसूस कर रही हैं। कुसुम लता ने बताया कि वह जोड़ों के दर्द से परेशान थी। आज इस एक्यूप्रेशर चिकित्सा पद्धति के प्रयोग से वह अपने आपको काफी स्वस्थ महसूस कर रही हैं। उपरोक्त लोग चिकित्सा शिविर में आए चिकित्सक डॉ आदित्य प्रकाश के सहयोग से लोगों का उपचार कर अपने आप को गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं। सुनीता शुक्ला ने बताया कि वह कब्ज की शिकायत से परेशान थी, शिविर में आकर उन्हें काफी राहत महसूस हुई है। स्नेहा लाल लता श्रीवास्तव ने बताया कि वह जोड़ों की दर्द व कमर की चोट से बहुत बड़ा परेशान थी। इस शिविर में आकर उन्होंने उपचार कराया उन्हें अब काफी आराम रहता है। फिलहाल 15 दिवसीय एक्यूप्रेशर चिकित्सा शिविर समाप्त हो गया है लेकिन लोगों की मांग है कि निरंतर गायत्री शक्तिपीठ पर इस तरह का एक्यूप्रेशर चिकित्सा शिविर चलता रहना चाहिए ताकि लोग साध्य एवं असाध्य रोगों का इलाज कराकर अपने आप को स्वस्थ कर सके। एक सुखद सूचना यह है कि आगामी 1 अप्रैल 2024 से एक्यूप्रेशर चिकित्सा शिविर का आयोजन जिले की लम्भुआ तहसील में होने जा रहा है। लोगों से अपील है कि वह अधिक से अधिक संख्या में पहुंचकर साध्य एवं असाध्य रोगों का इलाज करवाकर अपने आप को स्वस्थ करें।
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